SARAIPALI NEWS-भारतमाला की तरह नेशनल हाईवे 53 के मुआवजा प्रकरण की भी उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए

बड़े अधिकारियों द्वारा बिना जांच किये चेक जारी किए जाने का लगा था आरोप

दिलीप गुप्ता
सरायपाली

देश के नागरिको व व्यवसायीयो को बेहतर कनेक्टिविटी , साधन व सुविधा मिल इस हेतु केंद्र सरकार द्वारा देश मे सड़को के जालो के साथ साथ विभिन्न योजनाओं के तहत फोरलेन व सिक्सलेन की सड़कें बनाई जा रही है । बढ़ते ट्रैफिक दबाव के कारण असुरक्षित यातायात व्यवस्था को देखते हुवे लंबी दूरियों के शहरों को एक दूसरे से जोड़ने के लिए अरबो – खरबो रुपये खर्च कर सड़को का निर्माण किया जा रहा है । इससे यात्रियों व वाहन चालकों का समय , ईंधन , मेंटेनेंस आदि पर होने वाले खर्चो की बचत हो रही है । केंद्र सरकार द्वारा देश मे बड़े बड़े सड़क निर्माण से संबंधित प्रोजेक्ट को विभिन्न योजनाओं के तहत बनाया जा रहा है इसी तरह भारतमाला योजना के तहत राज्य में कई सड़क योजनाओं पर केसरी चल रहा है । किंतु जमीन अधिग्रहण मामले में अधिकारियों की मिलीभगत व बागरी अनियमितताओं के चलते करोड़ो रुपयों का बंदरबाट कर शासन के पैसों को चुना लगाया गया है ।

यह सभी कार्य पटवारी से लेकर ऊपर तक बैठे राजस्व अधिकारियों की सहमति व मिलीभगत के चलते यह संभव हो सका है । इसका खुलासा रायपुर से विशाखपट्नम तक बनने वाले फोरलेन सड़क निर्माण में मुवावजा प्रकरण की जांच में सामने आया जहां भूस्वामी व राजस्व विभाग की मिलीभगत से भूस्वामियों को गलत ढंग से करोड़ो रुपयों की राशि दे दी गई । कुछ इसी तरह का खेला कोलकाता से मुम्बई फोरलेन 53 ( पूर्व में राष्ट्रीय राजमार्ग 6 ) में भी किया गया था । सरायपाली व आसपास के ग्रामीण क्षेत्रो से होकर गुजरने वाली इस सड़क मार्ग के जमीन अधिग्रहण व मुवावजा प्रकरणों में भी काफी शिकायते कुछ भूस्वामियों को थी । भूमिअधिग्रहण के दौरान अनेक भूस्वामियों व किसानों को मुवावजा के रूप में करोड़ो रूपये का भुगतान किया था । रायपुर से विशाखापत्तनम मार्ग निर्माण में जिस तरह मुवावजा प्रकरणों की जांच चल रही है इसी तरह सन 2012-13 के दौरान निर्माण हुवे नेशनल हाईवे 53 फोरलेन मुआवजा की जांच जरूरी है । निश्चित रूप से जांच में अनेक अनियमितताओं की जानकारी मिलेगी । इसकी मांग नगर के वरिष्ठ सामाजिक कार्यकर्ता इमरान मेमन द्वारा इसकी मांग करते हुवे प्रधानमंत्री , केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री के साथ ही छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री को भी जांच कराये जाने हेतु पत्र लिखा जा रहा है ।

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इस संबंध में सामाजिक कार्यकर्ता इमरान मेमन ने कहा है कि केन्द्र सरकार की सबसे अहम उपलब्धि भारतमाला योजना में छत्तीसगढ़ के कई संभाग में सड़क मुआवजा के नाम पर बड़ा बंदरबांट का खेल कर भाजपा की ड़बल इंजन सरकार को बदनाम करने फर्जीवाड़ा किया गया है । मुवावजा प्रकरणों में अनेक अधिकारियों द्वारा मिलीभगत कर बागी जांच के भूस्वामियों को चेक भी जारी किया गया था ।
सामाजिक कार्यकर्ता इमरान मेमन ने कहा है कि वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी , केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी व मुख्यमंत्री विष्णुदेव साव को पत्र लिख कर मांग की है कि सन् 2012-13 में नेशनल हाईवे 53 [पूर्व में NH 6] फोरलेन मुआवजा चेक राशि व वर्तमान में छत्तीसगढ़ राज्य के कई संभाग में भारतमाला सड़क परियोजना के तहत भू-स्वामीयों को दी गई मुआवजा राशि की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिये । बड़े अधिकारियों को भनक तक नहीं हो पा रही है और मुआवजा घोटाला उजागर हो रहा है-बड़े अधिकारियों को भी जांच के दायरे में लाया जाना चाहिए । जिस तरह भारतमाला के तहत रायपुर विशाखापत्तनम सड़क निर्माण में हुवे घोटालो की जांच चल रही है इसी तरह राष्ट्रीय राजमार्ग 53 में बनाये गए फोरलेन सड़क निर्माण के तहत बनाये गए मुआवजा व भूस्वामियों को दिए गए चेक से भुगतान की उच्चस्तरीय जांच काईये जाने की मांग की गई है साथ ही राज्य में भारतमाला योजना के तहत निर्माणाधीन सड़क व अन्य परियोजनाओं में जहां भी भूमि अधिग्रहित की गई है व मुवावजा दिया गया है सभी की विशेष जांच टीम गठन कर जांच किया जाना चाहिए ।

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