Janjgir Shakti News
जिला पंचायत जांजगीर के बाबू सोनी द्वारा मामले को दबाने के लिए लगातार किया जा रहा है मेकप की कोशिश और संबंधित बाबू का मीडिया को धमकाने वाला आडियो की खूब हो रही चर्चा
दोनों कलेक्टरो के मेहनत पर निचले अधिकारी कर्मचारी लगा रहे पलीता शक्ति एवं जांजगीर चाम्पा जिले का मामला
Janjgir Shakti News : जांजगीर शक्ति / गौरतलब है कि मनरेगा के विकास कार्यो पर कमीशन की लेनदेन वाली खबर फैलते ही अधिकारी मामले की लीपापोती में लग गए है,संबंधित ग्राम पंचायत के एक जिम्मेदार व्यक्ति को परियोजना निदेशक द्वारा बार बार फोन कर मिन्नते करना प्रारंभ कर दिया गया है परियोजना निदेशक ने उस जिम्मेदार व्यक्ति को निवेदन पूर्वक कहा गया है
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Janjgir Shakti News : कि जो हो गया उसे जाने दो उसके बदले जितना काम कराना चाहते हो उन सबका तत्काल स्टीमेट बनवाकर जमा करवा दो उसको स्वीकृत कराने की जिम्मेदारी मेरी है लेकिन परियोजना निदेशक ने पूर्व में स्वीकृत हुए उस ग्राम पंचायत के कार्य को उस व्यक्ति के द्वारा करवाने की
बात कहि जिसने कमीशन पहुँचा दिया है परियोजना निदेशक के बातो से पूरा पता चलता है कि उनका मुख्य उद्देश्य कमीशन देने वाले का अंतिम समय तक साथ देना है भले ही काम कैसा भी हो और जनता उस काम के विरोध में हो ।
जिला पंचायत जांजगीर के बाबू सोनी द्वारा मामले को दबाने के लिए लगातार किया जा रहा है मेकप की कोशिश और संबंधित बाबू का मीडिया को धमकाने वाला आडियो की खूब हो रही चर्चा
बात बिगड़ने के डर से जिला पंचायत जांजगीर के बाबू सोनी ने गांव के एक जिम्मेदार व्यक्ति को लगातार यह लालच दिया जा रहा है कि कमीशन से स्वीकृत कार्य को हो जाने दो उसके बदले जितना भी कार्य करवाना है मेरे पास ले आओ लेकिन साथ ही गांव के जिम्मेदार व्यक्ति द्वारा
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यह बताया कि वह लगातार उजागर हो रहे अपने कारनामो से बौखला गया है तथा पत्रकारों को देख लेने की धमकी भी दिया जा रहा है लेकिन जिम्मेदार व्यक्ति भी आजकल के फोन में उपलब्ध सुविधा का जानकार है।
शासन का जो पैसा गांव की उन्नति के लिए आता है उसे ऐसे परियोजना निदेशक और बाबू अपने गलत इरादों से कमीशन बाजी के द्वारा हड़प लेते है गांव की विकास का पता नही ऐसे लोगो का विकास जरूर हो जाता है साथ ही मामलों की उजागर नही
होने से ऐसे लोगो का हिम्मत दिनोदिन बढ़ता जा रहा है लोकतंत्र के स्तम्भ को धमकी देने से भी नही चूक रहे है अब देखना है कि उच्च अधिकारी ऐसे मामलों में जांच की खानापूर्ति करते है या कुछ कार्यवाही भी करते है