Fake Naxalite: पुनर्वास-नीति का लाभ लेने युवक बने फर्जी नक्सली

छत्तीसगढ़ में पुनर्वास-नीति का लाभ लेने युवक बने फर्जी नक्सली

एसपी ऑफिस सरेंडर करने पहुंचे, खुद को बताया एरिया कमेटी सदस्य; छानबीन में हुआ खुलासा

बालोद। बालोद में 3 युवक खुद को नक्सली बता कर एसपी कार्यालय आत्मसमर्पण करने पहुंचें। युवकों ने अपने आप को मोहला-मानपुर एरिया कमेटी मावोवादी संगठन का सदस्य बताया। पुलिस ने पूछताछ शुरू की। युवक जब जवाब देने लगे तो पुलिस को शक हुआ। पुलिस ने तीनों को आगे की प्रक्रिया कल होगी कहकर बालोद में ही रहने कहा। पुलिस ने छानबीन की तो पता चला युवक शासन की पुनर्वास योजना का लाभ उठाने फर्जी नक्सली बनकर सरेंडर करने पहुंचे थे। पुलिस ने तीनों युवकों को शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया है।

्एसपी अशोक जोशी ने बताया कि दो युवक बीजापुर जिले के रहने वाले हैं। एक मानपुर का रहने वाला है। बबलू पोयम (बीजापुर), सुदेश बोगम (बीजापुर) और ओमप्रकाश नेताम (मोहला-मानपुर) उन्हें नक्सली साबित करने में लगे रहे। जब पुलिस मामले की छानबीन की तो पता चला कि तीनों का नक्सलियों से कोई संबंध नहीं है। पूछताछ में पता चला कि पुलिस को गुमराह कर पुनर्वास नीति योजना से मिलने वाली राशि और अन्य लाभ लेकर आपस में बांटने की योजना बनाई गई थी। सिटी कोतवाली पुलिस ने तीनों युवकों के खिलाफ 319(2), 6 (2) बीएनएस के तहत मामला दर्ज किया।
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यहां से आया लाभ लेने का आइडिया
युवकों ने शासकीय योजनाओं का लाभ लेते अक्सर नक्सलियों को देखा है, उनके क्षेत्र में जब नक्सली समर्पण करते हैं तो उन्हें आर्थिक सहायता के साथ-साथ रोजगार और नौकरी के भी साधन उपलब्ध कराए जाते हैं। इसी तरह का लाभ लेने युवकों यह प्लानिंग की।

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मोहला-मानपुर से लगे होने के कारण बालोद को चुना
युवक पूरी प्लानिंग के साथ बीजापुर से बालोद जिला पहुंचे हुए थे, क्योंकि मोहला-मानपुर बालोद जिले से लगा हुआ है। इसलिए इन्होंने बालोद में सरेंडर करना उचित समझा। पुलिस ने युवकों प्रक्रिया का हवाला देकर बालोद में ही रुकने कहा था। पुलिस ने अभी ने गिरफ्तार कर लिया है।

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