राजकुमार मल
भाटापारा। श्रेया सचदेव। पढ़ती है कक्षा नवमीं में लेकिन रांगोली में यह नाम तेजी से जगह बना रहा है। यह इसलिए क्योंकि प्रकृति के साथ प्रकृति के जनक, उसकी रांगोली की प्रेरणा रहे हैं।
रंगोली और शहर भाटापारा, अब एक दूसरे के पूरक बन चुके हैं। ऐसे में हर पर्व, हर उत्सव में यह आयोजन प्रमुखता के साथ न केवल होता है बल्कि सराहा भी जाता है। हैं इस कला में कई माहिर लेकिन श्रेया इनमें इसलिए अलग जगह बना रही है क्योंकि महज 15 बरस की उम्र में श्रेया की ऊंगलियों से आकार लेने वाली रांगोली हैरान करती है अपनी बारीकियों की वजह से। श्री श्याम बाबा व रतन टाटा की ताजा रांगोली प्रमाण है। श्रेया सचदेव अमित सचदेव की सुपुत्री है,जो लक्ष्मी अपार्टमेंट में निवास करते हैं।
Shreya’s rangoli – श्रेया की रंगोली को लोगों ने सराहा
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Nov