दूसरी तिमाही में भारत की GDP 8.2% बढ़ी; छह तिमाहियों में सबसे तेज रफ्तार

सरकार का कहना है कि जीएसटी दरों में कटौती और उपभोग बढ़ने की उम्मीद से विनिर्माण क्षेत्र में उत्पादन तेज हुआ, जिसका सीधा असर वृद्धि दर पर पड़ा।
इसके अलावा, पिछले तीन महीनों के 7.8% और एक वर्ष पूर्व की समान अवधि के 5.6% की तुलना में यह बेहतर प्रदर्शन है।

विनिर्माण क्षेत्र में 9.1% की तेजी

विनिर्माण क्षेत्र, जो भारत के जीडीपी में लगभग 14% योगदान करता है, दूसरी तिमाही में 9.1 प्रतिशत बढ़ा। यह पिछले वर्ष की समान तिमाही के 2.2 प्रतिशत की तुलना में काफी अधिक है, जिससे औद्योगिक गतिविधियों में मजबूती के संकेत मिलते हैं।


राजकोषीय घाटा 8.25 लाख करोड़, वार्षिक लक्ष्य का 52.6%

अप्रैल से अक्टूबर 2025 के बीच भारत का राजकोषीय घाटा 8.25 लाख करोड़ रुपये रहा है, जो वार्षिक अनुमानित लक्ष्य का 52.6% है। यह आंकड़ा पिछले वर्ष की समान अवधि के 46.5% से अधिक है।
सरकार का उद्देश्य इस वित्त वर्ष में राजकोषीय घाटे को जीडीपी के 4.4% तक लाना है, जबकि पिछले साल यह 4.8% था।


1 दिसंबर को जारी होंगे अक्टूबर 2025 के IIP आंकड़े

सरकार ने यह भी घोषणा की है कि अक्टूबर 2025 के औद्योगिक उत्पादन (IIP) के आंकड़े अब 1 दिसंबर 2025 शाम 4 बजे जारी किए जाएंगे।
आमतौर पर IIP के आंकड़े हर महीने की 28 तारीख को जारी होते हैं, लेकिन इस बार जीडीपी अनुमानों के साथ तालमेल रखने के लिए तारीख आगे बढ़ाई गई है।

सरकारी बयान के अनुसार,
“अक्टूबर 2025 के लिए IIP 28 नवंबर को जारी होना था। चूंकि जुलाई–सितंबर तिमाही के जीडीपी अनुमानों का प्रकाशन भी इसी समय निर्धारित था, इसलिए IIP जारी करने की तारीख को बदला गया है।”

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