Falgun Amavasya 2023 : आज से फाल्गुन अमावस्या से शुरू हो रहा पंचक, जानिए शुभ-अशुभ मुहूर्त
Falgun Amavasya 2023 : फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या को फाल्गुन अमावस्या कहा जाता है। इस दिन पितरों की आत्मा की शांति के लिए तर्पण और श्राद्ध कर्म किए जाते हैं। इस बार फाल्गुन अमावस्या पर एक बड़ा ही दुर्लभ संयोग बन रहा है। फाल्गुन अमावस्या के साथ पंचक की शुरुआत हो रही है। चूंकि ये पंचक सोमवार से शुरू हो रहा है, इसलिए इसे राज पंचक कहा जाएगा।
जानें क्या होते हैं पंचक?
Falgun Amavasya 2023 : पंचक पांच दिन की वो अवधि होती है, जब चंद्रमा धनिष्ठा नक्षत्र के तीसरे चरण में प्रवेश करता है। इसके बाद जब चंद्रमा शतभिषा, पूर्वाभाद्रपद, उत्तराभाद्रपद और रेवती नक्षत्र के चार पदों पर गोचर करता है तो इसे पंचक कहा जाता है। सरल भाषा में कहें तो जब चंद्रमा कुंभ और मीन राशि में गोचर करता है तो इसे पंचक कहते हैं।
ज्योतिष शास्त्र में पंचक की अवधि को बहुत ही अशुभ माना जाता है। ऐसा कहते हैं कि पंचक काल में यदि किसी इंसान की मौत हो जाए तो उसकी मृत्यु के बाद घर-परिवार के सदस्यों या फिर उस क्षेत्र के लोगों पर मृत्यु का संकट मंडराने लगता है।
इसलिए पंचक को बहुत ही अशुभ मानते हैं। हालांकि सारे पंचक अशुभ नहीं होते हैं। राज पंचक की शुरुआत सोमवार से होती है और इस पंचक को उन सभी कार्यों के लिए शुभ माना जाता है जो दैनिक जीवन में किए जा सकते हैं।
आज के शुभ मुहूर्त-
ब्रह्म मुहूर्त- 05:14 ए एम से 06:05 ए एम
प्रातः सन्ध्या- 05:39 ए एम से 06:56 ए एम
अभिजित मुहूर्त- 12:12 पी एम से 12:58 पी एम
विजय मुहूर्त- 02:28 पी एम से 03:13 पी एम
गोधूलि मुहूर्त- 06:12 पी एम से 06:38 पी एम
आज के अशुभ मुहूर्त-
राहुकाल- 08:20 ए एम से 09:45 ए एम
यमगण्ड- 11:10 ए एम से 12:35 पी एम
आडल योग- 06:56 ए एम से 11:46 ए एम
दुर्मुहूर्त- 12:58 पी एम से 01:43 पी एम
गुलिक काल- 02:00 पी एम से 03:25 पी एम
वर्ज्य- 06:08 पी एम से 07:33 पी एम
पंचक में होने वाले विशेष कार्य
जबकि रोग पंचक, मृत्यु पंचक और चोर पंचक जातकों की मुश्किल बढ़ाने का काम करते हैं। जब ये पंचक लगते हैं तो कुछ विशेष कार्य भूलकर भी नहीं करने चाहिए।
1. शादी-विवाह- पंचक का अशुभ काल शुरू होने के बाद विवाह, मुंडन और नामकरण संस्कार आदि कार्यक्रम वर्जित माने जाते हैं। पंचक में ऐसे कार्यों को टाल देना ही बेहतर होता है।
2. उधार से बचें- पंचक काल में व्यापार के लिए कभी पैसे उधार नहीं लेने चाहिए। लेकिन अगर ऐसा करना जरूरी हो तो कार्य के आरंभ से पहले माता लक्ष्मी की पूजा करें।
3. दक्षिण दिशा में यात्रा से परहेज- पंचक काल में लोगों को दक्षिण दिशा में यात्रा करने से बचना चाहिए। अगर किसी व्यक्ति को दक्षिण दिशा में शनिवार के दिन यात्रा करनी हो तो पहले संकटमोचन हनुमान जी की पूजा जरूर करें। इसके बाद ही यात्रा प्रारंभ करें।
4. लकड़ी से जुड़ा कार्य- पंचक लगते ही लकड़ी से जुड़े कार्यों को करने की मनाही होती है। इसलिए इस अवधि में ऐसा कोई भी कार्य करना से बचें। ऐसा करने से आपके घर में संकट आ सकता है।
5. अंतिम संस्कार विधि- यदि पंचक में किसी इंसान की मृत्यु हो जाए तो परिवार के सदस्यों की रक्षा के लिए दाह संस्कार के वक्त आटे, बेसन और कुश (घास) से 5 पुतले बनाकर मृतक के साथ उनका अंतिम संस्कार करना चाहिए। इससे परिवार के अन्य सदस्यों के सिर से खतरा टल जाता है।
तुला राशि वालों के लिए आज का दिन होगा खास
तुला राशि वाले आवश्यक कार्यों को तेजी रखेंगे। पेशेवरों का साथ समर्थन मिलेगा। आत्मविश्वास बल पाएग। आर्थिक मजबूती बनी रहेगी। शुभ प्रस्ताव प्राप्त होंगे, विभिन्न मामले संवरेंगे, लंबित कार्य पूरे होंगे, उपलब्धियां बढ़ेंगी और योजनाओं को आगे बढ़ाएंगे। बड़ों की सीख सलाह और व्यवस्था में भरोसा रखेंगे। मित्रों और करीयिबों का विश्वास जीतेंगे। महत्वपूर्ण मामले पक्ष में बनेंगे। संस्कार परंपराओं में गति आएगी। प्रतिस्पर्धा में प्रभावी बने रहेंगे। युवा बेहतर प्रदर्शन करेंगे। कला कौशल संवार पाएंगे। बुद्धिबल से सफलता पाएंगे। अनुकूल वातावरण रहेगा। अध्ययन अध्यापन में रुचि बढ़ाएंगे। शैक्षक गतिविधियां बढ़ेंगी। बड़ों का आदर सम्मान रखेंगे। सक्रियता बढ़ेगी। सूझबूझ सामंजस्य से कार्य करेंगे। लक्ष्य पर फोकस बनाए रहेंगे।