आगरा। समाजवादी पार्टी नेता आजम खां के करीबी और पूर्व IAS अधिकारी अब्दुल समद पर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है। विजिलेंस जांच में समद 2.97 करोड़ रुपये की संपत्ति का संतोषजनक हिसाब नहीं दे सके।
विजिलेंस जांच में खुलासा
वर्ष 2022 में शासन ने विजिलेंस आगरा को अब्दुल समद की संपत्ति की जांच के आदेश दिए थे। पूछताछ के दौरान वे अपनी संपत्ति को लेकर स्पष्ट जवाब नहीं दे पाए। शासन से मंजूरी मिलने के बाद विजिलेंस ने उनके खिलाफ FIR दर्ज की है।
नगर आयुक्त रहते लगे थे आरोप
अब्दुल समद समाजवादी पार्टी की सरकार में गाजियाबाद के नगर आयुक्त रहे थे। इसी दौरान वे कई विवादों में घिरे। उन पर डस्टबिन, कंप्यूटर और स्ट्रीट लाइट की खरीद में गंभीर अनियमितताओं के आरोप लगे थे। भाजपा प्रभाव वाले गाजियाबाद में उनके फैसलों का विरोध भी हुआ था।
113% अधिक संपत्ति का आरोप
विजिलेंस जांच में सामने आया कि समद ने अपनी आय से 113 प्रतिशत अधिक संपत्ति अर्जित की है। सेवानिवृत्ति के बाद भी उनके खिलाफ लखनऊ, जौनपुर, आजमगढ़ और कानपुर में अवैध संपत्ति अर्जित करने के आरोप लगे हैं।