Fair investigation: जुआ मामले की निष्पक्ष जांच की मांग..पूर्व जिपं सदस्य मोनू साहू ने एसपी दूर्ग को सौंपा ज्ञापन..

Fair investigation

पूर्व जिला पंचायत सदस्य मोरध्वज “मोनू” साहू ने दुर्ग के पुलिस अधीक्षक (एसपी) को एक ज्ञापन सौंपकर जुआ मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की है. उनका आरोप है कि अमलेश्वर पुलिस ने उन पर झूठे आरोप लगाए हैं, जबकि वे केवल एक जन्मदिन पार्टी में मौजूद थे और उनका जुए से कोई संबंध नहीं था.

 

क्या हुआ था?

4 मई 2025 को मोनू साहू के मित्र धर्मेंद्र सोनकर का जन्मदिन था, जिसे खुरमुड़ा गांव स्थित एक फार्महाउस में मनाया जा रहा था.

रात करीब 8 बजे, अमलेश्वर थाना प्रभारी और पुलिसकर्मियों ने फार्महाउस में घुसकर जुआ खेलने का आरोप लगाते हुए सभी के खिलाफ जुआ एक्ट के तहत कार्रवाई की.

मोनू साहू ने बताया कि वे केवल अपने मित्र को जन्मदिन की बधाई देने आए थे और वाहन न होने के कारण एक मित्र से लिफ्ट का इंतजार कर रहे थे.

थाना प्रभारी ने उन्हें बिना किसी कार्रवाई के जाने दिया, यह कहते हुए कि उन पर कोई आरोप नहीं लगेगा, क्योंकि वे जुआ नहीं खेल रहे थे.

– पुलिस द्वारा बनाई गई वीडियोग्राफी में भी मोनू साहू की कोई तस्वीर नहीं थी, जिससे साबित होता है कि वे जुए में शामिल नहीं थे.

 

फिर क्यों बने आरोपी?

बाद में पुलिस ने मोनू साहू का नाम भी आरोपियों की सूची में शामिल कर लिया, जबकि उन्होंने कोई अपराध नहीं किया था.

– जब उन्होंने थाना प्रभारी से नाम हटाने का अनुरोध किया, तो पुलिस ने मना कर दिया और झूठे आधार पर उनके खिलाफ कार्रवाई की.

-इसके बाद मोनू साहू ने दुर्ग एसपी से शिकायत करते हुए मामले की निष्पक्ष जांच और अपना नाम हटाने की मांग की.