Bihaan- बिहान की महिलाएं बनीं आत्मनिर्भरता की मिसाल

डिगमा की महिलाओं ने हर्बल गुलाल से बनाई अपनी पहचान

कलेक्टर ने स्वयं सहायता समूह से खरीदा हर्बल गुलाल

(हिंगोरा सिंह)
अंबिकापुर

छत्तीसगढ़ राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत महिलाओं को आत्मनिर्भर और स्वावलंबी बनाने के लिए विभिन्न योजनाएं संचालित की जा रही हैं। इसी कड़ी में अम्बिकापुर ब्लॉक के ग्राम पंचायत डिगमा की “राधे कृष्णा स्वयं सहायता समूह” की महिलाएं बीते चार वर्षों से हर्बल गुलाल बनाने का कार्य कर रही हैं। इन महिलाओं का यह प्रयास न केवल उनकी आर्थिक समृद्धि का साधन बन रहा है, बल्कि लोगों को रासायनिक मुक्त और प्राकृतिक रंगों से सुरक्षित होली मनाने का अवसर भी दे रहा है।

रासायनिक नहीं, प्राकृतिक रंगों से बनता है हर्बल गुलाल
स्वयं सहायता समूह की महिलाओं ने बताया कि वे हर्बल गुलाल बनाने के लिए फल-फूल, चुकंदर और पलाश के फूलों का उपयोग करती हैं। इससे गुलाल पूरी तरह प्राकृतिक और त्वचा के लिए सुरक्षित होता है। समूह की महिलाएं न केवल इस व्यवसाय से आय अर्जित कर रही हैं, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी अपना योगदान दे रही हैं।

Related News

पिछले वर्ष 10 क्विंटल, इस बार 20 क्विंटल विक्रय का लक्ष्य
पिछले वर्ष स्वयं सहायता महिला समूह ने 10 क्विंटल हर्बल गुलाल का विक्रय किया था, जिससे उन्हें एक लाख 54 हजार रुपए की अच्छी आमदनी हुई थी। इस वर्ष उन्होंने 20 क्विंटल हर्बल गुलाल विक्रय करने का लक्ष्य रखा है।

कलेक्टर ने की सराहना, अधिकारियों ने की खरीदारी
कलेक्ट्रेट कंपोजिट बिल्डिंग में महिला समूह द्वारा हर्बल गुलाल का स्टॉल लगाया गया, जहां कलेक्टर विलास भोसकर सहित अन्य अधिकारियों ने भी होली के लिए हर्बल गुलाल खरीदा।
इस अवसर पर जिला पंचायत सीईओ ने बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कार्य किए जा रहे हैं।  जिसकी वजह से आज महिलाएं स्वरोजगार से जुड़कर आर्थिक रूप से सशक्त हो रहे हैं। उन्होंने सभी नागरिकों से अपील की है कि वे स्वयं सहायता समूह द्वारा बनाए गए हर्बल गुलाल का उपयोग कर सुरक्षित और प्राकृतिक होली मनाएं और रासायनिक रंगों से बचें।

Related News