निजी अस्पतालों पर कार्रवाई…5 संस्थानों पर ₹1 लाख का जुर्माना… 15 के पंजीयन आवेदन निरस्त

जिन संस्थानों पर कार्रवाई की गई है, उनमें स्पर्श पॉलीक्लीनिक, स्पर्श पैथोलॉजी लैब, बालाजी पॉलीक्लीनिक, मेडिकेयर पैथोलॉजी लैब एवं बालाजी डायग्नोस्टिक सर्विसेस शामिल हैं।

साथ ही, 15 निजी स्वास्थ्य संस्थानों के पंजीयन आवेदन अस्वीकृत करने की अनुशंसा भी समिति ने की है। इन संस्थानों में वशिष्ठ आयुर्वेदिक क्लीनिक (धरमपुरा), संजीवनी क्लीनिक (नगरनार), डॉ. गोपेश कुमार क्लीनिक (गीदम रोड), डॉ. आजाद डायग्नोस्टिक (चोकावाड़ा एवं प्रताप देव वार्ड), पंजाब पॉलीक्लीनिक (प्रताप देव वार्ड), स्वास्थ्य हित पॉलीक्लीनिक (सेमरा), प्रीयांश पॉलीक्लीनिक (परपा नाका), डॉ. हेमंत कुमार कलेक्शन सेंटर (बालाजी वार्ड), डॉ. सोनी पॉलीक्लीनिक (भैरम देव वार्ड), पैथोलॉजी लैब कलेक्शन सेंटर (उसरीबेड़ा), राधा-स्वामी हॉस्पिटल (आडावाल), डॉ. योगिता पॉलीक्लीनिक (कस्तूरी), दंतेश्वरी ट्रॉमा एंड क्रिटिकल केयर हॉस्पिटल (धरमपुरा रोड) और उज्जवल डायग्नोस्टिक सेंटर (डॉ. लागू हॉस्पिटल रोड) शामिल हैं।

नोडल अधिकारी डॉ. भंवर शर्मा ने बताया कि समिति द्वारा की गई अनुशंसा पर कलेक्टर एवं परिवेक्षी अधिकारी नर्सिंग होम एक्ट हरिस एस ने निर्देश जारी किए हैं कि बिना पंजीयन संचालित संस्थानों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए। उन्होंने कहा कि जो संस्थान राज्य के बाहर के चिकित्सकों के माध्यम से अवैध रूप से सेवाएं दे रहे हैं, उन पर भी जांच की जाएगी।

जिला समिति अब ग्रामीण क्षेत्रों में झोलाछाप डॉक्टरों, अवैध लैब संचालकों और अपंजीकृत क्लीनिकों के खिलाफ भी विशेष अभियान चलाएगी। कलेक्टर ने स्पष्ट कहा है कि जनता के स्वास्थ्य से किसी भी प्रकार का खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और नियमों का उल्लंघन करने वाले संस्थानों को बंद करने की कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी।

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