:विनोद कुशवाहा:
बिलासपुर। शहर में ट्रैफिक पुलिस की लापरवाही अब खुलेआम सड़क सुरक्षा पर सवाल खड़े कर रही है। शहर की सड़कों पर दिन-दहाड़े बाइकर्स नियमों की धज्जियां उड़ा रहे हैं कहीं बिना नंबर प्लेट के वाहन दौड़ रहे हैं, तो कहीं तीन-तीन और चार-चार सवारियां फर्राटे भरती दिख रही हैं। बावजूद इसके ट्रैफिक पुलिस केवल चेकिंग के नाम पर खानापूर्ति करती नजर आ रही है।

नेहरू चौक से लेकर सरकंडा सीपत चौक तक बने पुल पर शनिवार को फिर ऐसा ही नजारा देखने को मिला, जब एक स्कूटी पर पांच नाबालिग लड़के सवार होकर तेज रफ्तार में स्टंटबाजी कर रहे थे। न तो उन्हें किसी हादसे का डर था, न ही पुलिस का खौफ।
यह लापरवाही न केवल उनकी जान के लिए खतरा है, बल्कि सड़कों पर चलने वाले हर व्यक्ति की सुरक्षा के लिए भी। सबसे बड़ी चिंता की बात यह है कि इन नाबालिगों को वाहन देने में उनके अभिभावकों की भी उतनी ही गलती है जितनी इन बच्चों की।
ऐसे में यह सवाल उठना लाज़मी है जब पुलिस सड़क पर नहीं दिख रही और अभिभावक भी जिम्मेदारी से भाग रहे हैं, तो शहर में ट्रैफिक नियमों की रक्षा कौन करेगा? अगर अब भी प्रशासन नहीं चेता, तो बिलासपुर की सड़कें हादसों का अड्डा बन जाएंगी।