Tribal museum cg : छत्तीसगढ़ के जनजातीय गौरव का प्रमुख केन्द्र होगा ट्रायबल म्युजियम…..आइये देखे VIDEO

Tribal museum cg :

Tribal museum cg :  छत्तीसगढ़ के वीर आदिवासी स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों को समर्पित है यह संग्रहालय

Tribal museum cg : नवा रायपुर में 45 करोड़ रूपए की लागत से लगभग 10 एकड़ भूमि पर बना रहा है ‘शहीद वीर नारायण सिंह आदिवासी स्वतंत्रता संग्राम सेनानी संग्रहालय‘

Tribal museum cg :  रायपुर !  मुख्यमंत्री  विष्णु देव साय ने आज नवा रायपुर में आदिम जाति अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान के समीप बन रहे ‘शहीद वीर नारायण सिंह आदिवासी स्वतंत्रता संग्राम सेनानी संग्रहालय‘ का निरीक्षण किया।
छत्तीसगढ़ के आदिवासी वीर स्वतंत्रता सेनानियों को समर्पित इस संग्रहालय का निर्माण 45 करोड़ रूपए की लागत से लगभग 10 एकड़ भूमि पर किया जा रहा है। मुख्यमंत्री के साथ आदिम जाति विकास मंत्री  रामविचार नेताम भी कार्य की प्रगति देखने पहुंचे।
मुख्यमंत्री साय ने संग्रहालय में मूर्तियों, अन्य कलाकृतियों तथा विभिन्न मॉडलों का अवलोकन किया। उन्होंने मूर्तियों का निर्माण कर रहे शिल्पकारों से चर्चा कर उनकी कला के बारे में जानकारी ली।

साय ने निर्माणाधीन म्युजियम का किया निरीक्षण

 

मुख्यमंत्री श्री साय ने इस अवसर पर कहा कि ट्रायबल म्युजियम छत्तीसगढ़ के जनजातीय गौरव का एक प्रमुख केन्द्र बनेगा। छत्तीसगढ़ के आदिवासी स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के देश प्रेम की भावना, उनके शौर्य पराक्रम और बलिदानों पर केन्द्रित यह संग्रहालय छत्तीसगढ़ की गौरवशाली विरासत को सहेजने का अनुपम प्रयास है।
उन्होंने विभागीय अधिकारियों तथा निर्माण एजेंसी के प्रतिनिधियों को संग्रहालय के कार्यों को गुणवत्ता के साथ निर्धारित समय-सीमा में पूर्ण करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि संग्रहालय के माध्यम से हमारी युवा पीढ़ी और आने वाली पीढ़ियों को अपने इतिहास को जानने का मौका मिलेगा। यह संग्रहालय आदिवासी संस्कृति और सभ्यता को जानने मे रूचि रखने वाले लोगों के लिए भी आकर्षण का केन्द्र होगा।
यहां छत्तीसगढ़ के प्रथम स्वतंत्रता संग्राम सेनानी शहीद वीर नारायण सिंह सहित राज्य के सभी जनजातीय स्वतंत्रता सेनानियों को और अधिक करीब से जानने का मौका मिलेगा।
आदिम जाति तथा अनुसूचित जाति विकास विभाग के प्रमुख सचिव  सोनमणि बोरा ने बताया कि इस संग्रहालय में 15 गैलरियां निर्मित की जारी हैं, जिसमें छत्तीसगढ़ के महत्वपूर्ण जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम की घटनाओं- हल्बा विद्रोह, सरगुजा विद्रोह, भोपाल-पट्टनम विद्रोह, परलकोट विद्रोह, लिंगागिरी विद्रोह,
कोई विद्रोह, मेरिया विद्रोह, मुरिया विद्रोह, रानी-चो-रिस विद्रोह, भूमकाल विद्रोह, सोनाखान विद्रोह, झण्डा सत्याग्रह, जंगल सत्याग्रह आदि को जीवंत मॉडलों के माध्यम से प्रदर्शित किया जाएगा। संग्रहालय में छत्तीसगढ़ राज्य में रहने वाली जनजातीयों की जीवनशैली, पहनावें, आभूषण, संगीत, वाद्ययंत्र, आखेट में उपयोग किए जाने वाले हथियारों सहित दैनिक जनजीवन में उपयोग की जाने वाली वस्तुओं को उनके वास्तविक परिवेश में प्रदर्शित किया जाएगा।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री के सचिव श्री राहुल भगत, आयुक्त आदिम जाति एवं अनुसूचित जाति विकास विभाग श्री नरेन्द्र कुमार दुग्गा, आदिम जाति अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान के संचालक श्री पी.एस.एल्मा भी उपस्थित थे।

आदिवासी संस्कृति और सभ्यता का जीवंत केन्द्र बनकर उभरेगा संग्रहालय

 

 शहीद वीर नारायण सिंह स्मारक सह जनजातीय स्वतंत्रता सेनानी राज्य संग्रहालय में शहीद वीर नारायण सिंह की फाइबर प्रतिमा, उनका स्मारक, फांसी स्थल, एक छोटी झील और लैंडस्कैप का निर्माण किया जाएगा। संग्रहालय में वीर आदिवासी स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों की मूर्तियां स्थापित की जाएगी। रिसेप्शन, सोविनियर शॉप, फूड कोर्ट, मल्टीमीडिया रूम, शौचालय, पार्किंग जैसी सुविधाएं विकसित की जाएंगी।
परिसर की छत पर सोलर सिस्टम लगाया जाएगा तथा संग्रहालय के मुख्य प्रवेश द्वार को सुन्दर जनजातीय आर्ट वर्क से अलंकृत किया जाएगा। इस संग्रहालय में मूर्तियां और कलात्मक जनजातीय कलाकृतियां तैयार करने के लिए क्यूरेटर प्रबल घोष के नेतृत्व में बड़ोदरा, कोलकाता, ओड़िसा, हैदराबाद, दिल्ली, झारखण्ड और बिहार से आये शिल्पकार काम कर रहे हैं।
Tribal museum cg : मुख्यमंत्री ने आदिम जाति अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान में लाईब्रेरी, छत्तीसगढ़ के जनजातीय स्वतंत्रता संग्राम की महत्वपूर्ण घटनाओं के मॉडलों का अवलोकन भी किया। लाईब्रेरी के अवलोकन के दौरान आदिम जाति विकास मंत्री श्री रामविचार नेताम ने छत्तीसगढ़ जनजातीय लोक वा़द्य संस्कृति पर केन्द्रित पुस्तक ‘आदि नाद‘ में छपे क्यूआर कोड को मोबाइल से स्कैन किया। स्कैन करने पर वाद्ययंत्र की धुन सुनाई देती है।