मुंबई। केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने 3.81 करोड़ रुपये की साइबर धोखाधड़ी के मामले में फरार आरोपी नीरज को गिरफ्तार किया है। जुलाई में दर्ज इस मामले में एक ही दिन में म्यूल अकाउंट के जरिए करोड़ों रुपये की ठगी की गई थी। जांच में पता चला कि सुधीर पालांडे के इंडसइंड बैंक के म्यूल अकाउंट का इस्तेमाल कर यह राशि अवैध रूप से हासिल की गई और उसी दिन कई अन्य खातों में ट्रांसफर कर दी गई।
नीरज की भूमिका
जांच में खुलासा हुआ कि नीरज ने सह-आरोपी सुधीर पालांडे (वर्तमान में न्यायिक हिरासत में) को म्यूल अकाउंट खोलने के लिए उकसाया था। उसने सुधीर की मुंबई से नागपुर तक की यात्रा की व्यवस्था भी की, ताकि खाता सक्रिय रहे और अवैध रकम को अन्य खातों में ट्रांसफर किया जा सके। सीबीआई ने तकनीकी निगरानी, स्थानीय खुफिया जानकारी और भौतिक निगरानी के आधार पर नीरज को पकड़ा।
जांच में प्रगति
सीबीआई ने इस मामले में प्रारंभिक चार्जशीट दाखिल कर दी है और तीन आरोपी पहले से न्यायिक हिरासत में हैं। नीरज की गिरफ्तारी से जांच को नई दिशा मिली है और अन्य अज्ञात आरोपियों की गिरफ्तारी की संभावना बढ़ गई है। नीरज को सीबीआई की विशेष अदालत में पेश किया गया, जहां उसे हिरासत में भेज दिया गया।
आगे की कार्रवाई
सीबीआई का कहना है कि जांच अभी जारी है और जल्द ही और खुलासे हो सकते हैं। यह गिरफ्तारी साइबर अपराधों के खिलाफ चल रही कार्रवाइयों में महत्वपूर्ण कदम है, जो मामले के प्रॉसिक्यूशन को और मजबूत करेगी।