0 कहा- राहुल गांधी के नेतृत्व में कंफ्यूज है पार्टी
भोपाल। मध्य प्रदेश में कांग्रेस और खासकर पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ को बड़ा झटका लगा है. कांग्रेस नेता सैयद जफर सहित कई पदाधिकारी-कार्यकर्ता 18 मार्च को बीजपी में शामिल हो गए. इस मौके पर उन्होंने पार्टी के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस कंफ्यूज पार्टी हो गई है. पार्टी के नेताओं को समझ नहीं आ रहा है कि किस घटना पर कैसी प्रतिक्रिया देनी है. वहीं, बीजेपी और आरएसएस राष्ट्र निर्माण को लेकर बेहतर काम कर रहे हैं. हर मुद्दे को लेकर है पार्टी में स्पष्ट राय है. यही कारण है कि मैंने कांग्रेस का दामन छोड़ बीजेपी का हाथ थामा है.
जफर ने कहा कि कमलनाथ मेरे पिता तुल्य हैं और आगे भी रहेंगे. उनसे अब राजनीतिक संबंध खत्म हो चुके हैं. गौरतलब है कि जफर पर पहले आरोप लगा था कि उन्होंने कमलनाथ से 5 लाख रुपये मांगे थे. इस बातचीत की चैट वायरल होने का दावा किया गया था. इस पर जफर ने कहा कि कमलनाथ की हैसियत 5 लाख नहीं बल्कि 5 करोड़ रुपये की है. मैंने कभी भी कमलनाथ से पैसे लेकर काम नहीं किया. कांग्रेस के लोग मेरे पार्टी छोड़ने से बौखलाए हैं. इसलिए इस तरह की फर्जी पोस्ट वायरल कर रहे हैं.
इन नेताओं ने भी ली बीेजपी की शरण
कांग्रेस के नेताओं ने मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव, प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा, न्यू जॉइनिंग टोली के प्रदेश संयोजक डॉ. नरोत्तम मिश्रा की मौजूदगी में बीजेपी के प्रदेश कार्यालय में पार्टी की सदस्यता ली. कांग्रेस के सैयद जफर के अलावा दिनेश श्रीधर, कांग्रेस महामंत्री डॉ. मनीषा दुबे, बसपा के प्रदेश प्रभारी डॉ. रामसखा वर्मा, रतलाम जिला पंचायत सदस्य संतोष पालीवाल, अभयराज सिंह, अंकित पोरवाल सहित कई नेताओं ने बीजेपी जॉइन की.
बीजेपी में जा रहे नेताओं की हालत खराब- कांग्रेस
इधर, कमलनाथ के करीबी सैयद जफर की पार्टी छोड़ने पर पूर्व मंत्री पीपी शर्मा ने कहा कि जफर आरएसएस और भाजपा की विचारधारा से प्रभावित हो रहे हैं. यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है. कांग्रेस से बीजेपी में जा रहे नेताओं की हालत एक हजार और दो हजार के नोट जैसी है. कुछ दिनों बाद ही ये नोट चलन से बाहर हो जाएंगे. उन्होंने मंत्री कैलाश विजयवर्गीय के बयान को लेकर कहा कि बात बिल्कुल सही है कि बीजेपी अपने नेताओं के बराबर कांग्रेस नेताओं को खड़ा कर रही है. इससे उसके नेताओं में डर है. उनका पद कभी भी जा सकता है. बीजेपी अपने ही नेताओं को डरा रही है.