कोर्ट के निर्देश-एम्स मेडिकल बोर्ड बनाए, इंसुलिन और अन्य जरूरतों के बारे में बताए
नई दिल्ली। शराब नीति केस में 1 अप्रैल से तिहाड़ जेल में बंद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए अपने डॉक्टर से कंसल्ट नहीं कर पाएंगे। दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने सोमवार को उनकी याचिका खारिज कर दी।
स्पेशल जज कावेरी बावेजा ने केजरीवाल की मांग खारिज कर दी। कोर्ट ने एम्सको निर्देश दिए हैं कि वह केजरीवाल की जांच के लिए एक मेडिकल बोर्ड बनाए ताकि यह पता चल सके कि उन्हें शुगर लेवल कंट्रोल करने के लिए इंसुलिन की जरूरत है। इसके अलावा उनके अन्य मेडिकल जरूरतों का भी पता लगाएं। केजरीवाल ने कोर्ट से डिमांड की थी कि उन्हें शुगर है। जेल में उन्हें इंसुलिन नहीं दिया जा रहा। वे अपने डॉक्टर से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए रोज 15 मिनट परामर्श लेना चाहते हैं। इसके अलावा उन्होंने डायबिटीज की रेगुलर जांच और इंसुलिन की मांग की थी।
ईडी ने कहा था- जानबूझकर मीठा खा रहे केजरीवाल
ईडी ने 18 अप्रैल को राउज एवेन्यू कोर्ट से कहा था कि जेल में केजरीवाल जानबूझकर आम और मिठाई खा रहे हैं ताकि उनका शुगर लेवल बढ़े और उन्हें मेडिकल ग्राउंड पर जमानत मिल जाए। कोर्ट ने ईडी से इस पर जवाब मांगा था।