High power supercapacitor भारत के पहले 3000एफ हाई पावर सुपरकैपेसिटर का निर्माण

High power supercapacitor

High power supercapacitor भारत के पहले 3000एफ हाई पावर सुपरकैपेसिटर का निर्माण

High power supercapacitor नयी दिल्ली । स्वदेशी प्रौद्योगिकी से लिथियम-आयन सेल्स बनाने हेतु बीआईएस प्रमाणन प्राप्त करने वाली पहली भारतीय कंपनी गोदी इंडिया ने अब अपने हैदराबाद संयंत्र में भारत के पहले 3000 एफ उच्च शक्ति सुपरकैपेसिटर का निर्माण करने की घोषणा की है।


High power supercapacitor कंपनीने आज यहां जारी बयान में कहा कि बैटरी पैक्स के साथ गोदी इंडिया के सुपरकैपेसिटर के एकीकरण से इलेक्ट्रिक व्हीकल (ईवी) और अक्षय ऊर्जा भंडारण प्रणाली (ईएसएस) अनुप्रयोगों में बैटरी लाइफ में कई गुना सुधार होगा। गोदी इंडिया सुपरकैपेसिटर के डिजाइन, विकास और प्रदर्शन का श्रेय डॉ मिलन जना और डॉ पुष्पेंद्र सिंह को जाता है।


High power supercapacitor कंपनी का दावा है कि उसने सुपरकैपेसिटर उत्पादों की श्रृंखला विकसित की है जो उच्च बिजली वितरण, न्यूनतम ईएसआर (इक्विवैलेंट सीरिज रेजिस्टेंस), उत्कृष्ट ऊर्जा घनत्व, बेहतर शॉक और कंपन सुरक्षा एवं लाखों चार्ज-डिस्चार्ज चक्र प्रदान करता है।

सुपरकैपेसिटर का उपयोग पावर-स्मूथिंग, पिच-कंट्रोल, स्टार्ट-स्टॉप, रीजनरेटिव-ब्रेकिंग, स्मार्ट-ग्रिड, एक्टिव हीव कंपंसेशन और स्पेशियलिटी यूपीएस एप्लिकेशन में होता है। गोदी इंडिया के सुपरकैपेसिटर, वेस्ट टू वेल्थ कॉन्सेप्ट के उदाहरण हैं।

 

High power supercapacitor कंपनी के संस्थापक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी महेश गोदी ने कहा, “गोदी इंडिया जल-आधारित इलेक्ट्रोड प्रोसेसिंग का उपयोग करके किफायती और संयंत्र-आधारित कार्बन-कार्बन सुपरकैपेसिटर का उत्पादन कर रहा है। हमारे पास 3000एफ तक के विभिन्न प्रकार के सुपरकैपेसिटर उत्पाद हैं। वर्तमान में, हम हाई-वोल्टेज लिथियम-आयन कैपेसिटर भी विकसित करने की प्रक्रिया में हैं।

हम व्यापक तरह के अनुप्रयोगों की विस्तृत श्रृंखला में लेड-एसिड बैटरी के प्रतिस्थापन के लिए उच्च ऊर्जा घनत्व वाले हाइब्रिड कैपेसिटर पर भी काम कर रहे हैं। ये कैपेसिटर पर्यावरण की दृष्टि से टिकाऊ, हरे और स्वच्छ हैं, और ये काफी रिसाइक्लेबल हैं।”

 

High power supercapacitor सुपरकैपेसिटर के वैश्विक बाजार का आकार वर्ष 2030 तक 25 अरब डॉलर होने का अनुमान है। भारत को चौथा सबसे बड़ा ऑटोमोटिव निर्माता और दुनिया में तीसरा सबसे बड़ा ऊर्जा उपभोक्ता मानते हुए और तेजी से इलेक्ट्रिक वाहनों और नवीकरणीय ऊर्जा की ओर बढ़ते कदम के साथ, यह अनुमान है कि सुपरकैपेसिटर बाजार में अगले पांच वर्षों में 5 अरब डॉलर के बाजार आकार के साथ 16 प्रतिशत से अधिक दर से वृद्धि होगी।

 

High power supercapacitor  भविष्य की योजना के बारे में उन्होंने कहा कि गोदी इंडिया विभिन्न स्थानीय आवश्यकताओं और निर्यात बाजारों की जरूरतें पूरा करने के लिए 200 किलोवाट घंटा वाले सुपरकैपेसिटर के उत्पादन हेतु संयंत्र शुरू करने की योजना बना रहा है।

गोदी इंडिया महत्वपूर्ण खंडों की आवश्यकताओं के अनुसार विशिष्ट जरूरतों के अनुरूप डिज़ाइन किए गए सुपरकैपेसिटर उत्पादों को विकसित करने पर जोर दे रहा है और इसका लक्ष्य अगले एक वर्ष में सुपरकैपेसिटर निर्माण की 100 प्रतिशत आपूर्ति श्रृंखला को स्थानीयकरण करना है।”

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