Collector Jagdalpur : कलेक्टर ने की बाल संरक्षण समिति और सखी वन स्टॉप सेंटर समिति के कार्यों की समीक्षा

Collector Jagdalpur : कलेक्टर ने की बाल संरक्षण समिति और सखी वन स्टॉप सेंटर समिति के कार्यों की समीक्षा

Collector Jagdalpur :  जगदलपुर ! कलेक्टर  चंदन कुमार की अध्यक्षता में महिला एवं बाल विकास विभाग अंतर्गत गठित जिला बाल संरक्षण समिति एवं सखी वन स्टॉप संचालन समिति की त्रैमासिक बैठक गुरुवार 15 दिसंबर को आस्था  कक्ष में आयोजित की गई। बैठक में प्रमुख रूप से बाल कल्याण समिति एवं किशोर न्याय बोर्ड में प्रस्तुत एवं लंबित प्रकरणों, वात्सल्य सदन के निर्माण, फोस्टर केयर एवं स्पॉन्सरशिप कार्यक्रम, विभिन्न विभागों के माध्यम से संचालित एक युद्ध नशे के विरुद्ध चलाई जा रही गतिविधियों, सड़क जैसी परिस्थितियों में रह रहे बालकों के चिन्हांकन, रेस्क्यू व पुनर्वास तथा सखी वन स्टॉप सेंटर एवं घरेलू हिंसा के प्रकरणों तथा धरमपुरा स्थित वर्किंग वुमेन ट्राजिस्ट हॉस्टल के संचालन एवं व्यवस्थाओं की समीक्षा की गई। जिला बाल संरक्षण अधिकारी द्वारा बाल कल्याण समिति व किशोर न्याय बोर्ड में लंबित प्रकरणों से अवगत कराते हुए बताया गया कि वर्तमान में बाल कल्याण समिति में कुल 13 प्रकरण लंबित हैं।

Collector Jagdalpur :   जिसमें 11 प्रकरण गरीबी व आर्थिक कारणों से,1 गुम बालक व 1 बालक घर से भागे हुए बालक का प्रकरण है। दोनों बालकों को परिवार के सुपुर्द कर दिया गया है एवं 11 बालकों को स्पॉन्सरशिप एवं अन्य शासकीय योजनाओं से लाभान्वित करने की कार्यवाही की जाएगी। जबकि किशोर न्याय बोर्ड में कुल 118 प्रकरण लंबित है, जिनमें से 104 प्रकरणो में बालकों को जमानत प्राप्त है।

Collector Jagdalpur :  शेष प्रकरणों में बालकों को संस्था में रखा गया है। वात्सल्य सदन हेतु आडावाल में भूमि का चिन्हांकन किया गया है। जिले में कोई भी घुमंतु बालक नहीं मिला है।  नवा विहान के संरक्षण अधिकारी द्वारा अवगत कराया गया कि सखी वन स्टॉप सेंटर में कुल 1125 प्रकरण प्राप्त हुए है, जिनमें से 1079 प्रकरणों को निराकृत किया गया है। इनमें 406 प्रकरणों में आश्रय प्रदान किया गया है। साथ ही वर्किंग वुमेन ट्रॉजिस्ट हॉस्टल में रिक्त एवं भरे हुए कक्षों के संबंध में जानकारी दी गई।

Collector Jagdalpur :  कलेक्टर द्वारा टॉस्क फोर्स के माध्यम से जिले में घुमंतु बालकों के चिन्हांकन एवं रेस्क्यू हेतु श्रम विभाग एवं संबंधित विभागों को निर्देश दिए गए। साथ ही गरीबी और आर्थिक कारणों से पढाई छोड़ चुके बालकों को आदिवासी विकास विभाग के माध्यम से संचालित आश्रम में भर्ती कराने  तथा लोक निर्माण विभाग के माध्यम से वात्सल्य सदन का प्रस्ताव करने हेतु महिला एवं बाल विकास विभाग को निर्देशित किया गया।

बैठक में महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारी कर्मचारियों के साथ-साथ, पुलिस विभाग, स्वास्थ्य विभाग, शिक्षा विभाग, समाज कल्याण विभाग, नगर पालिका निगम, श्रम विभाग, आदिम जाति कल्याण विभाग, चाईल्ड लाइन, यूनीसेफ, बाल कल्याण समिति एवं किशोर न्याय बोर्ड के सदस्य तथा बाल देखरेख संस्थाओं के प्रभारी  उपस्थित थे।

 

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

MENU