(Chhattisgarh Women’s Commission) लैंगिक उत्पीड़न को लेकर कल दिया जाएगा प्रशिक्षण
(Chhattisgarh Women’s Commission) अम्बिकापुर ! छत्तीसगढ़ महिला आयोग की अध्यक्ष किरणमई नायक के द्वारा कलेक्टर सभाकक्ष में जनसुनवाई का आयोजन किया गया इस दौरान विभिन्न मामलों के कुल 57 मामले सामने आए थे!
(Chhattisgarh Women’s Commission) यह पूरे मामले संभाग के सरगुजा, सूरजपुर और बलरामपुर के शामिल थे जिनमें से अधिकांश मामलों में सुनवाई की गई है कई मामले नस्तीबध हुए, छत्तीसगढ़ महिला आयोग की अध्यक्ष किरणमई नायक ने बताया कि छत्तीसगढ़ में पहली बार आज प्रदेश के बस्तर से लेकर अंबिकापुर का कोर्स पूरा हो चुका है, और महिला आयोग की नई सदस्य बालू बघेल नीता विश्वकर्मा अंबिकापुर से इस सुनवाई में शामिल हुई है जोकि छत्तीसगढ़ महिला आयोग की एक 162 वी सुनवाई अंबिकापुर में आज की गई है !
आयोग के द्वारा एक नया प्रयोग शुरू किया गया है जिसकी शुरुआत बस्तर से की गई है जिसको लेकर कल गुरुवार को अंबिकापुर के राज मोहनी भवन में आयोग के द्वारा संभाग स्तरीय कार्यशाला का आयोजन किया गया है इस कार्यशाला में संभाग के सभी जिलों के अधिकारी कर्मचारी पुलिस वर्ग के अधिकारी सहित वर्ग के अधिकारी जिनको मास्टर ट्रेनर के रूप में आयोग के द्वारा ट्रेनिंग दी जाएगी !
(Chhattisgarh Women’s Commission) जिसका टॉपिक साइबरक्राइम एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग कार्यस्थल पर लैंगिक उत्पीड़न जिसको लेकर कल प्रशिक्षण दिया जाएगा, महिला आयोग की अध्यक्ष ने बताया महिला की सीजी महिला आयोग का एक वेबसाइट बनाया गया है, इसके साथ ही आयोग तक अपनी समस्याएं सीधे पहुंचाने के लिए व्हाट्सएप कॉल सेंटर नंबर भी जारी किया गया है जिसका नंबर 9098382225 पर शिकायत लिखकर आयोग के पास भेजा जा सकता है !
आने वाले दिनों में राजधानी रायपुर में आयोग के द्वारा एक कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा जिसमें एक मोबाइल ऐप भी लांच किया जाएगा जिसकी जानकारी हर जिले के डीपीओ के माध्यम से लोगों तक पहुंचाए जाएगी जिससे लोग अपने मोबाइल में उक्त ऐप को डाउनलोड कर ऐप के माध्यम से शिकायत दर्ज करा सकें!
(Chhattisgarh Women’s Commission) छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग का गठन छत्तीसगढ़ में 24 मार्च 2001 को किया गया था, आयोग में हर महिलाओं का कोई भी प्रकरण सुना जा सकता है मगर प्रखंड सुनने में एक शर्त भी रखी जाती है प्रकरण संबंधित महिलाओं के कोई भी मामले किसी न्यायालय में लंबित ना हो और ना ही पुलिस थाने में कोई जांच चल रही हो यदि पुलिस थाने में मामले की जांच चल रही है और न्यायालय में मामले लंबित हैं तो यह रोक आयोग के आड़े आती है !
इसके साथ ही कोई राजस्व मामले या दीवानी मामला न्यायालय में लंबित हो तो आयोग उस मामले को नहीं सुन सकता है आयोग की अध्यक्ष ने लोगों से गुजारिश की है सुनवाई के लिए आयोग में आवेदन देकर कोशिश करें जिससे आयोग आवेदक को निशुल्क सारी मदद उपलब्ध करा सकता है उनके मामलों का पूरा निपटारा आयोग कर सकता है अधिकांश कई मामलों आयोग के द्वारा किया गया है !
बाइट 3 – डॉ. किरणमयी नायक,अध्यक्ष छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग