राजकुमार मल
Black guava cultivation नाम है श्यामला…!
घटाता है वजन, बढ़ाता है रोग प्रतिरोधक क्षमता
Black guava cultivation भाटापारा-अमरूद की खेती करने वाले किसानों के लिए अच्छी खबर। अब काले अमरूद की भी खेती की जा सकेगी। इस प्रजाति के अमरुद में भरपूर मेडिशनल प्रॉपर्टीज की मौजूदगी की प्रमाणित हुई है।
नाम है श्यामला। काम है पेट से संबंधित व्याधियां दूर करना। जी हां, अमरूद की यह नई प्रजाति, ऐसी कई विशेषताओं से भरपूर है, जिनकी मदद से आम हो चली कई व्याधियां दूर की जा सकेंगी। इस प्रजाति के अमरूद के बीज तो कुछ ज्यादा ही औषधिय गुणों से भरपूर है।
Black guava cultivation इसलिए श्यामला
अमरूद की इस नई प्रजाति के फल का आवरण काला और भीतरी हिस्सा, लाल होता है। फूल और पत्तियां ही नहीं, तना भी श्याम वर्ण का होता है। इसी वजह से इसे श्यामला नाम से पहचाना जाता है। अन्य प्रजातियों की तुलना में श्यामला अमरूद में कहीं ज्यादा औषधिय गुणों का होना पाया गया है।
Black guava cultivation मिले यह मेडिशनल प्रॉपर्टीज
अनुसंधान में श्यामला में आयरन, कैल्शियम, विटामिन ए, बी और सी की मात्रा भरपूर मिली है। इसके अलावा पोटेशियम का भी होना प्रमाणित हुआ है। यह सभी औषधिय गुण रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में सहायक माने जाते हैं।
Black guava cultivation यह रोग काबू में
कब्ज और बवासीर आम रोग है। इसे समूल नष्ट करती है श्यामला। अनुसंधान में इसके बीज में वजन कम करने, ब्लड प्रेशर को काबू में रखने के गुणों का होना प्रमाणित हुआ है। बीज में पोटेशियम और फाइबर की मात्रा होने से पेट की कई अन्य व्याधियां दूर की जा सकती हैं।
औषधिय गुणों का खजाना है काला अमरूद
काले अमरूद का सेवन जहां पौष्टिक तत्वों की कमी दूर करने में कारगर है, वहीं इसमें एंटीऑक्सीडेंट की मात्रा बहुत अधिक होती है जो बुढ़ापा आने से रोकती है। काले अमरूद को खाने से लोगों में रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ती है।
अजीत विलियम्स, साइंटिस्ट (फॉरेस्ट्री), बीटीसी कॉलेज ऑफ़ एग्रीकल्चर एंड रिसर्च स्टेशन बिलासपुर