रायपुर। छत्तीसगढ़ के एडवोकेट जनरल कार्यालय में कार्यरत वरिष्ठ सरकारी वकील सतीश गुप्ता ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने इस्तीफा कानून एवं विधायी मामले विभाग के सचिव को सौंपा। इस घटना से राज्य के कानूनी एवं राजनीतिक हलकों में हलचल मच गई है।
सतीश गुप्ता को 15 जनवरी 2024 को दो वर्ष की अवधि के लिए नियुक्त किया गया था, जिसकी समाप्ति जनवरी 2026 में होनी थी। हालांकि, उन्होंने समय पूर्व पद त्यागने का निर्णय लिया। इस्तीफे में उन्होंने कार्यकाल के दौरान कार्यालय में उत्पन्न असहज माहौल का उल्लेख किया है।
इस्तीफा पत्र में गुप्ता ने पूर्व एडवोकेट जनरल प्रफुल एन. भरत के अचानक इस्तीफे तथा एडिशनल एडवोकेट जनरल रणवीर सिंह मरहास के पद त्यागने के बाद कार्यालय के तनावपूर्ण माहौल का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि कड़ी मेहनत के बावजूद अपेक्षित सराहना नहीं मिली। नए एडवोकेट जनरल विवेक शर्मा के अधीन कार्य करना उनके लिए गरिमाहीन एवं असहज हो गया, क्योंकि वरिष्ठता के आधार पर वे उनसे जूनियर थे।
सतीश गुप्ता ने पत्र में राज्य सरकार एवं वरिष्ठ नेताओं के प्रति आभार व्यक्त किया। उन्होंने उपमुख्यमंत्री अरुण साव एवं पवन साय को विशेष धन्यवाद दिया, जिन्होंने उन्हें राज्य के सर्वोच्च कानूनी कार्यालय में कार्य का अवसर प्रदान किया। सहयोगियों एवं सीनियर एडवोकेट्स के साथ कार्य अनुभव को भी मूल्यवान बताया।
कानूनी विशेषज्ञों के अनुसार, यह इस्तीफा कार्यालय में तनाव एवं वरिष्ठता संबंधी मुद्दों का संकेत है। इससे कार्यप्रणाली एवं टीम डायनेमिक्स पर सवाल उठ सकते हैं। राजनीतिक विश्लेषक इसे राज्य के कानूनी ढांचे में संभावित बदलाव की ओर इशारा मान रहे हैं।