जबलपुर। रेलवे स्टेशन की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं, जब फर्जी असिस्टेंट लोको पायलट देव शर्मा को RPF ने मुख्य रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार किया। आरोपी देव शर्मा, जो मदमहल, जबलपुर का निवासी बताया जा रहा है, लंबे समय से रनिंग स्टाफ के बीच बिना रोक-टोक स्टेशन में घूम रहा था।जबलपुर। रेलवे स्टेशन की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं, जब फर्जी असिस्टेंट लोको पायलट देव शर्मा को RPF ने मुख्य रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार किया। आरोपी देव शर्मा, जो मदमहल, जबलपुर का निवासी बताया जा रहा है, लंबे समय से रनिंग स्टाफ के बीच बिना रोक-टोक स्टेशन में घूम रहा था।

जबलपुर। रेलवे स्टेशन की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं, जब फर्जी असिस्टेंट लोको पायलट देव शर्मा को RPF ने मुख्य रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार किया। आरोपी देव शर्मा, जो मदमहल, जबलपुर का निवासी बताया जा रहा है, लंबे समय से रनिंग स्टाफ के बीच बिना रोक-टोक स्टेशन में घूम रहा था।

हैरानी की बात यह रही कि उसकी ड्रेस देखकर स्टेशन का लॉबी स्टाफ भी उसे आवश्यक उपकरण जैसे फॉग डिवाइस और वॉकी-टॉकी दे देता रहा। देव शर्मा इंजन के पास शंटर को निर्देश दे रहा था, लेकिन शंटर को उसकी गतिविधियां संदिग्ध लगीं और उन्होंने तुरंत RPF को सूचना दी।
RPF की टीम ने मौके पर पहुंचकर देव शर्मा को गिरफ्तार किया और उसके खिलाफ पूछताछ शुरू कर दी। इस घटना ने रेलवे की सुरक्षा व्यवस्था पर कई गंभीर प्रश्न खड़े कर दिए हैं।
रेलवे अधिकारियों का कहना है कि इस प्रकार की घटनाएं सुरक्षा में गंभीर खामियों को उजागर करती हैं। अगर कोई बाहरी व्यक्ति स्टाफ की ड्रेस और उपकरणों का फायदा उठाकर स्टेशन पर घूम सकता है, तो यात्रियों और इंजन संचालन दोनों के लिए खतरा बन सकता है।
रेलवे प्रशासन ने चेतावनी दी है कि फर्जी स्टाफ और सुरक्षा भंग की किसी भी घटना को लेकर सख्त कार्रवाई की जाएगी। RPF ने भी कहा कि जांच के दौरान यह पता लगाया जाएगा कि देव शर्मा को इतनी आसानी से स्टेशन के भीतर आने और उपकरण प्राप्त करने की अनुमति कैसे मिली।
यह घटना यात्रियों के लिए भी चिंता का विषय बन गई है, क्योंकि रेलवे सुरक्षा व्यवस्था में ऐसी खामियों से किसी भी समय गंभीर दुर्घटना या सुरक्षा समस्या उत्पन्न हो सकती है।