दुर्ग में ट्रैफिक कंट्रोल करते दिखेंगे बीएसपी कर्मी, रिटायर्ड कर्मी भी देंगे साथ , ट्रैफिक पुलिस शहर में शुरू कर रही है ट्रैफिक वार्डन का कॉन्सेप्ट

रमेश गुप्ता
भिलाई। भिलाई स्टील प्लांट के कर्मचारी अब शहर की सड़कों पर यातायात व्यवस्था संभालते दिखेंगे। इनके साथ बीएसपी के रिटायर्ड कर्मचारियों को भी शामिल किया जा रहा है। दुर्ग में यातायात विभाग द्वारा एक नया कॉन्सेप्ट शुरू किया जा रहा है जिसे ट्रैफिक वार्डन नाम दिया जाएगा। ट्रैफिक वार्डन शहर की सड़कों पर यातायात व्यवस्था संभालेंगे और लोगों को यातायात नियमों की जानकारी भी देंगे। चालानी कार्रवाई को छोड़ शेष सभी काम यातायात पुलिस के साथ मिलकर यह करेंगे।

इस कॉन्सेप्ट को लेकर यातायात विभाग की एडिशनल एसपी सुश्री रिचा मिश्रा ने जानकारी साझा की है। उन्होंने बताया कि यातायात विभाग द्वारा शहर में बढ़ाते यातायात दबाव को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है। ट्रैफिक वार्डन कोई नया कॉन्सेप्ट नहीं है बल्कि पूर्व में भी इसे इस्तेमाल किया गया है। किसी कारणवश पिछले 4 ,5 सालों से बंद कर दिया गया जिसे फिर से शुरू किया जा रहा है। अब तक 25 लोगों ने वॉलिंटियर का काम करने की जिम्मेदारी ली है जिसमें कुछ बीएसपी कर्मचारी एवं कुछ रिटायर कर्मचारी शामिल हैं।

नि:शुल्क मिलेगी वालेंटियर की सेवाएं
ट्रैफिक व्यवस्था संभालने वाले वालेंटियर्स की सेवाएं नि:शुल्क रहेंगी। चालानी कार्रवाई छोड़कर बाकी सभी कामों में यातायात पुलिस के साथ कंधा से कंधा मिलाकर काम करेंगे। रिटायर कर्मचारी समय निकालकर काम करेंगे एवं बीएसपी के जो कर्मचारी ड्यूटी कर रहे हैं ड्यूटी के बाद यातायात पुलिस के साथ मिलकर यातायात व्यवस्था को संभालेंगे। यातायात विभाग के बल की कमी को देखते हुए इस प्रकार का प्रयोग शुरू किया जा रहा है।

इन्हें मिला था ट्रैफिक वार्डन का नाम

पूर्व एडिशनल एसपी बलराम हिरवानी में बताया कि ट्रैफिक वार्डन का काम ट्रैफिक पुलिस के साथ मिलकर व्यवस्था संभालने बच्चों को ट्रैफिक नियमों के बारे में जानकारी देना यह परंपरा लंबे समय से चल रही है l

व्यवस्था सुधारने की जिम्मेदारी

सुश्री रिचा मिश्रा एडिशनल एसपी यातायात दुर्ग ने बताया कि यातायात के दबाव को काम करने के उद्देश्य पूर्व से चली आ रही ट्रैफिक वार्डन को एक बार फिर से यातायात पुलिस के साथ मिलकर यातायात व्यवस्था सुधारने की जिम्मेदारी दी जा रही है-