सुजाता साहा/ समय निरंतर गतिमान है, वह अपनी गति से चलता रहता है न किसी के लिए चलता है और न रूकता है। वर्ष 2024 भी बीत गया। नया वर्ष 2025 आपके दरवाजे पर दस्तक दे रहा है। आपके रिश्तेदार, दोस्त, आपके अपने आपको नए वर्ष की शुभकामनाएं देने के लिए एसएमएस, ई-मेल, मोबाइल द्वारा आपको नूतन वर्ष के आने की खुशी में आपको शुभकामनाएं देंगे, आपकी भविष्य की सुख-समृद्धि के लिए दुआ करेंगे। यह क्षण प्रतिवर्ष आता है, और थोड़े समय बाद नियमित दिनचर्या पर चल पड़ती है, पर आप सोचे क्या आप पुराने साल में जो भी संकल्प लिए होंगे, क्या वह पूरे हो पाए, पारिवारिक खींचातानी में क्या आप अपने लिए समय निकाल पाए… क्या आपने कुछ ऐसा काम किया हो, जिससे आपको आत्मसंतुष्टि प्राप्त हुई हो, क्या आपने अपने स्वस्थ्य का ध्यान रखा… नहीं अगर आप चाहे तो 2025 का हर दिन खुशनुमा बना सकती हैं।
अंदरुनी क्षमताओं का मूल्यांकन
सुंदरता किसी भी व्यक्ति के जीवन का आवश्यक अंग हैं। अगर आप सुंदर हैं तो भाग्यशाली है किंतु यदि नहीं है तो कभी भी मन में हीन भावना न पनपने दें। क्योंकि शारीरिक सुंदरता के बजाए अपनी अंदरुनी क्षमताओं का मूल्यांकन करें, विश्लेषण करें। कोई न कोई कला कोई न कोई गुण आपके अंदर जरूर होगा। तो लग जाइए अपनी उस सुंदरता को निखारने में। इस वर्ष आप अपनी कार्यक्षमता, प्रतिभा को निखारने का प्रयास करके देखें। आपने तो सुना ही होगा जहां चाह है वहीं राह है। इसलिए हमेशा पाजीटिव सोच को अपनाएं।
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प्रकृति से करें दोस्ती
अगर आप वास्तविक एवं आंतरिक खुशियां चाहती है तो प्रकृति से दोस्ती करें। फूलों का स्पर्श करें, चिडिय़ों का चहचहाना सुने, हरी घास पर टहले। शीतल, मंद बहती हुई हवा में कुछ पल धूमे। आप ऐसा करके जरूर देखें।
सप्ताह में एक बार अवश्य दूसरों की सहायता करे
मशीनी जीवन जीते हुए आप केवल अपने सुख-दुख में ही सुख-दुख की अनुभूति करती है, क्या किसी और के सुख-दुख का आप पर प्रभाव नहीं पड़ता? यदि नहीं तो आप अपनी संवेदनशीलता का जीवंत रखे। संकल्प करें कि समय निकालकर सप्ताह में किसी भी दिन दीन-दुखी या जरूरतमंदों की सहायता करके देखें।
अपनों के लिए वक्त निकाले
अपने किसी पुराने मित्र को या करीबी रिश्तेदार को फोन कीजिए या अचानक मिलने पहुंच जाइए। आप अपनी जिंदगी के कई सुनहरे पलों को याद कर पाएंगे। पुरानी यादों की ताजगी से आपका तन, मन खिल उठेगा। आज की व्यस्त जिंदगी में हमारे पास परिवार के लिए वक्त निकाल पाना कठिन हो गया है। तो फिर अपने रिश्तों में मिठास के लिए अपने परिवार के कुछ समय निकालें। आपके परिवार के साथ-साथ ही आपके जीवन में सुख-दुख के साथी सबसे पहले आपके पड़ोसी है अत: पड़ोसियों से हमेशा दोस्ताना व्यवहार यानि अच्छे संबंध बनाएं।
समय का मोल पहचानें
जो वक्त बीत गया वह कभी वापस नहीं आता। आप खुद ही महसूस कीजिए कि कितना समय मोबाइल, सोशल मीडिया पर बीताते हुए आज का काम कल पर टालती रहती है। हमें अपने टालने की प्रवृत्ति को छोड़कर अपने काम को तुरंत कर लेना चाहिए। अपने समय की कीमत को पहचानें और उसका सदुपयोग करें। तो आप भी तैयार है नए वर्ष में नई अभिलाषाओं, नई आकांक्षाओं और नए प्रण के साथ। अपने स्वयं का विश्लेषण करने, अपने समय को परखने के लिए कि क्या आपने सही में सालभर आशानुरूप समय बीता पाई हैं। यदि बीते साल में कुछ भी खास न कर पाई हो तो अब नए वर्ष में उसे कीजिए। आखिर हर नई सुबह एक नया संदेश साथ लाती है।