Mahakala :

Mahakala : मर्जी थी बाबा की…कुशल उंगलियों का ही कमाल है कि महाकाल नित नए स्वरूप में दे रहे दर्शन

राजकुमार मल Mahakala मर्जी थी बाबा की…   Mahakala : भाटापारा- ‘बाबा’ की मर्जी थी। यह कहने वाले अमन और सावन के बीच अब चोली-दामन जैसा साथ बन गया है। उसकी कुशल उंगलियों का ही कमाल है कि महाकाल नित नए स्वरूप में दर्शन दे रहे हैं। हुनर बहुतेरों के पास होगा लेकिन अमन के […]

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