Negotiate एक-एक विधायक का कच्चा चिट्ठा खोलने की बात कही
Negotiate सिरसा ! हरियाणा में दो राज्यसभा सीटों पर चुनाव के बाद प्रदेश में सियासी चर्चे अभी थमे नहीं हैं। पहले कांग्रेस से रूष्ट चल रहे कुलदीप बिश्नोई के पार्टी से भागने का समाचार किसी भी पल आने की उम्मीद जताई जा रही थी वहीं अब इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) के नेता एवं एकमात्र विधायक अभय चौटाला ने इन चुनावों में जमकर खरीद-फरोख्त का आरोप लगाते हुए अगले मानूसन सत्र में एक-एक विधायक का कच्चा चिट्ठा खोलने की बात कही है।
Negotiate किसी भी विधायक ने अभय चौटाला के इस ब्यान पर खुलकर प्रतिक्रिया नहीं दी है। अभय के इस ब्यान से प्रदेश में पक्ष व विपक्ष दोनों ही धड़ो में सुगबुगाहट बढ़ गई है। अगर श्री अभय चौटाला ऐसा खुलासा करने में कामयाब रहते हैं तो प्रदेश में बड़ा सियासी भूचाल खड़ा होने से इंकार नहीं किया जा सकता।
वहीं,दूसरी ओर अभय चौटाला द्वारा हाल ही में संपन्न निकाय चुनावों में सिरसा जिले के डबवाली व रानियां निकाय में अपने ही चाचा व बिजली मंत्री रणजीत सिंह व भाई अजय चौटाला पर मतों के खरीद फरोख्त के आरोप लगाकर नये मुद्दे को जन्म दे दिया है। चाचा रणजीत सिंह को इस विषय पर जगह-जगह सफाई देनी पड़ रही है।
वहीं अजय चौटाला पर लगे आरोपों की सफाई उनका छोटा बेटा दिग्विजय दे रहा है। आय से अधिक संपति मामले में पूर्व मुख्यमंत्री औम प्रकाश चौटाला के जेल चले जाने के बाद अजय चौटाला व अभय चौटाला पर न्यायालय की कच्चे धागे से बंधी तलवार की डोर लटक रही है। ऐसे समय में भ्रष्टाचार के खुले आरोप न्यायालय की फाईलों को ओर अधिक मजबूती प्रदान करते नजर आ रहे हैं।
न्यायालय में चल रहा आय से अधिक संपति का मामला पूर्व मुख्यमंत्री औम प्रकाश चौटाला के छोटे भाई व पूर्व विधायक स्वर्गीय प्रताप चौटाला द्वारा जांच एजेंसियों को दी शिकायत व दस्तावेज की देन है।
हरियाणा राज्यसभा की दो सीटों पर जहां विधायकों की खरीद फरोख्त के आरोप लग रहे हैं वहीं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा द्वारा वरिष्ठ कांग्रेस नेता कुलदीप शर्मा के साथ अपनी दोस्ती निभाने की बातें भी खूब सुनने को मिल रहीं हैं। श्री भूपेंद्र हुड्डा की कांग्रेस नेता कुलदीप शर्मा व विनोद शर्मा से गहरी दोस्ती है।
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आजाद उम्मीदवार कार्तिकेय शर्मा कुलदीप शर्मा के दामाद है,जबकि विनोद शर्मा पिता,ऐसे में भीतर खाते मदद की बू भी आ रही है। वहीं चर्चा यह भी चल रही है कि भूपेंद्र सिंह हुड्डा अजय माकन को हरियाणा में एक नेता के तौर पर स्थापित होते देखना नहीं चाहते थे।
इन सब स्थितियों को भापंते हुए रणदीप सुरजेवाला ने पहले ही पैतृक प्रदेश हरियाणा को छोड़कर राजस्थान की डगर पकड़ ली थी ओर कामयाब रहे। पूर्व केंद्रीय मंत्री कुमारी शैलजा का नाम भी उम्मीदवार सूची में माना जा रहा था मगर भीतरघात के डर से पहले ही हटा दिया गया।
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हरियाणा राज्यसभा चुनाव में मतदान को लेकर आदमुपर के विधायक कुलदीप बिश्नोई पर हालांकि खुले आरोप लग रहें हैं। सियासी गलियारो में चर्चा यह भी है कि कुलदीप बिश्नोई के प्रतिष्ठानों पर दो बरस पहले ईडी की कार्यवाही के दौरान कांग्रेस पार्टी ने उनका साथ नहीं दिया जिससे वह खफा चल रहे हैं।
उम्मीद यह भी जताई जा रही है कि ईडी के छापेमारी के बाद की कार्यवाही पर विराम लगाने का प्रलोभन देकर कुलदीप बिश्नोई का मत भाजपा अपने समर्थित प्रत्याशी कार्तिकेय शर्मा को दिलवाने में कामयाब रही। इसके बाद कांग्रेस पार्टी हाईकमान ने कुलदीप बिश्नोई से संगठन से सारे पद छिन लिये।
सूत्र बताते हैं कि कुलदीप बिश्नोई प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में भाजपा का दामन थामना चाहते हैं,प्रधानमंत्री की व्यस्तता के चलते पर्याप्त समय नहीं मिल पाया है। इस सिलसिलें में नवनिर्वाचित राज्यसभा सांसद कार्तिकेय शर्मा ने श्री कुलदीप बिश्नोई के आवास पर पहुंचकर मुलाकात भी की है।