Muslim Personal Law Board : महिलाएं अब मस्जिद में अदा कर सकेंगी नमाज…मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने सुप्रीम कोर्ट से कही ये बड़ी बात
Muslim Personal Law Board : नई दिल्ली। ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने बुधवार, 8 फरवरी को मस्जिदों में नमाज अदा करने वाली मुस्लिम महिलाओं के संबंध में एक हलफनामा दायर किया। पर्सनल लॉ बोर्ड ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि मुस्लिम महिलाएं मस्जिदों में नमाज पढ़ सकती हैं.

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Muslim Personal Law Board : बोर्ड ने एक हलफनामे में कहा कि मुस्लिम महिलाएं मस्जिद में नमाज पढ़ने के लिए स्वतंत्र हैं और यह उन पर निर्भर है कि वे मस्जिद में नमाज पढ़ने के अपने अधिकार का इस्तेमाल करना चाहती हैं या नहीं।
अधिवक्ता एमआर शमशाद के माध्यम से दायर हलफनामे में कहा गया है कि पूजा स्थल (जो इस मामले में मस्जिद हैं) पूरी तरह से निजी संस्थाएं हैं और मस्जिदों के ‘मुत्तवली’ (प्रबंधकों) द्वारा नियंत्रित हैं।
एआईएमपीएलबी सिर्फ सलाह जारी कर सकता है
हलफनामे में कहा गया है कि AIMPLB विशेषज्ञों का एक निकाय है और इसके पास कोई शक्ति नहीं है और यह केवल इस्लाम के सिद्धांतों पर सलाह जारी कर सकता है।
हलफनामे में कहा गया है कि इस्लाम के अनुयायियों के धार्मिक ग्रंथों, सिद्धांतों और धार्मिक मान्यताओं को देखते हुए यह दावा किया जाता है कि महिलाओं को मस्जिद में प्रवेश करने और प्रार्थना करने की अनुमति है।

जानिए पर्सनल लॉ कमेटी ने क्या कहा
मुस्लिम महिलाएं मस्जिद में नमाज अदा करेंगी: पर्सनल लॉ बोर्ड ने वकील के माध्यम से दायर एक हलफनामे में कहा कि मस्जिदें पूरी तरह से निजी संस्थाएं हैं और मस्जिदों के मुतवल्लियों द्वारा नियंत्रित होती हैं। इसमें बोर्ड के बारे में जानकारी देते हुए कहा गया कि एआईएमपीएलबी विशेषज्ञों की संस्था है और इसके पास कोई शक्ति नहीं है। प्राधिकरण केवल इस्लाम के धार्मिक ग्रंथों में निर्धारित सिद्धांतों के आधार पर ही अपनी सलाह जारी कर सकता है।