Gold Price Today : रिकॉर्ड हाई पर सोना, क्या करें निवेश, जानिए एक्सपर्ट की राय
Gold Price Today : नई दिल्ली. सोने की कीमतों (Gold Price) में आग लगी हुई है. हाल ही में भारत में प्रति 10 ग्राम गोल्ड फ्यूचर की कीमतें 56,245 रुपये पर पहुंच गई. अंतरराष्ट्रीय बाजारों में सोना 1,900 डॉलर प्रति औंस के महत्वपूर्ण लेवल को पार कर गया है.
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Gold Price Today : नवंबर 2022 से सोने की अंतरराष्ट्रीय कीमतों में रिकवरी और पिछले एक साल में कमजोर रुपये ने यह सुनिश्चित किया है कि सोने के लिए आवंटन वाले भारतीय पोर्टफोलियो ने अच्छा प्रदर्शन किया है.
ऐसे में सवाल उठता है कि क्या यह सोने में निवेश का सही समय है? 12 जनवरी, 2023 को समाप्त हुए तीन महीनों में, सोने और चांदी में निवेश करने वाले ईटीएफ (ETF) में क्रमशः 10.98 फीसदी और 19.36 फीसदी का लाभ देखा गया. हालांकि, निवेशकों को सलाह दी जाती है कि वे सालों पहले सोने की चाल पर विचार करें.
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मार्च 2022 में सोना 2,070 डॉलर प्रति औंस के उच्च स्तर पर पहुंच गया था
यूक्रेन पर रूसी आक्रमण के बाद मार्च 2022 में सोना 2,070 डॉलर प्रति औंस के उच्च स्तर पर पहुंच गया था. लेकिन यूएस फेड रिजर्व (Fed) द्वारा दरों में वृद्धि की घोषणा ने सोने की कीमतों को दबाव में ला दिया.
जब ब्याज दरों में वृद्धि की जाती है और निवेशकों को रिटर्न की पॉजिटिव रियल रेट मिलती है (जहां मामूली ब्याज दर महंगाई की दर से ज्यादा होती है) तो सोने की कीमतें गिर जाती हैं.
उभरते बाजारों से कैपिटल फ्लोज के कारण मजबूत डॉलर ने भी सोने के खिलाफ काम किया. कोई आश्चर्य नहीं, जिन लोगों ने 2,000 डॉलर से ऊपर सोना खरीदा था, उन्हें अभी तक अपना खरीद मूल्य नहीं देखा है. कुछ ऐसा ही देखने को मिला था जब अगस्त 2020 में सोना 2,070 डॉलर पर पहुंच गया था, जब हर कोई दुनिया भर में
आर्थिक स्थिति पर महामारी के प्रभाव को लेकर चिंतित था. मार्च 2022 में फिर से उन कीमतों तक पहुंचने में सोने को लगभग 18 महीने लगे. आर्थिक विकास को रिवाइव करने के लिए दुनिया भर के पॉलिसी मेकर्स की राजकोषीय और मौद्रिक नीति को लेकर रिस्पॉन्स के लिए धन्यवाद देना चाहिए.
सोने से रिटर्न लीनियर नहीं होता
इस तरह के बेतहाशा मूल्य उतार-चढ़ाव के कारण जो भी हों, एक सबक है कि सोने से रिटर्न लीनियर नहीं होता है और अगर आप गलत दिशा में उतरते हैं, तो सोना आपको महीनों तक इंतजार करवा सकता है.
पिछले रिटर्न को देखकर सोने के पीछे नहीं भागना चाहिए
जीवंतिका के चीफ मेंटर और को-फाउंडर विजय मंत्री कहते हैं, ”पिछले रिटर्न को देखकर सोने के पीछे नहीं भागना चाहिए. यह कोई ब्याज नहीं देता है. अगर आपकी खरीदारी के बाद कीमतें नीचे जाती हैं, तो आपके खरीद मूल्य पर वापस आने में आपकी कल्पना से अधिक समय लग सकता है.
सोना एक वोलेटाइल एसेट
हालांकि सोना एक वोलेटाइल एसेट है, लेकिन कई विश्लेषकों का मानना है कि अभी कुछ समय के लिए कीमतों में बढ़ोतरी जारी रह सकती है. माहौल सोने के पक्ष में बदल रही है. अगर ब्याज दरों में और अधिक वृद्धि नहीं की जाती है और मुद्रास्फीति स्थिर हो जाती है, तो सोने की कीमतों में बढ़ोतरी हो सकती है.
सोने की कीमतों में तेजी की उम्मीद
मोतीलाल ओसवाल के शोध, जिंसों और मुद्राओं के प्रमुख नवनीत दमानी कहते हैं, “फेड के आक्रामक दर वृद्धि के रुख में बदलाव, ईटीएफ में पॉजिटिव फ्लोज और सोने की केंद्रीय बैंक की खरीद से सेंटिमेंट को बढ़ावा मिलना चाहिए और सोने की कीमतों में तेजी आनी चाहिए.” उन्हें उम्मीद है कि कैलेंडर वर्ष 2023 में सोने की कीमतें 60,000-63,000 रुपये प्रति 10 ग्राम तक पहुंच सकती हैं.
CY2023 में 60 हजार तक पहुंच सकता है सोना
वह अकेला नहीं हैं. आईआईएफएल सिक्योरिटीज के अनुज गुप्ता को भी उम्मीद है कि कैलेंडर वर्ष 2023 में सोना 58,000 रुपये से 60,000 रुपये प्रति 10 ग्राम तक पहुंच सकता है.